(डाउनलोड) यूपीपीएससी सहायक वन संरक्षक/क्षेत्रीय वन अधिकारी मुख्य परीक्षा वैकल्पिक विषय "उद्यान विज्ञान" पाठ्यक्रम हिंदी में (Download) UPPSC ACF, RFO Mains Optional Subject "Environmental Science" Exam Syllabus in Hindi
(डाउनलोड) यूपीपीएससी
सहायक वन संरक्षक/क्षेत्रीय वन अधिकारी मुख्य
परीक्षा वैकल्पिक विषय
"उद्यान विज्ञान" पाठ्यक्रम हिंदी
में (Download) UPPSC ACF, RFO Mains Optional Subject
"Environmental Science" Exam Syllabus in Hindi
:: प्रश्न पत्र - 1 (Paper - I) ::
खण्ड-अ (Section - A)
पर्यावरण विज्ञान का मूल, परिभाषा, अर्थ, सम्भावित कार्यक्षेत्र, पर्यावरण
विज्ञान के अध्ययन का महत्व।
पर्यावरणीय खण्डः भूमंडल, स्थलमंडल, जलमंडल, वायुमंडल एवं जीवमंडल, उनके
विस्तार, संयोजन तथा उनके बीच पारस्परिक सम्बन्ध।
पर्यावरणीय एवं परिस्थितिकीय सिद्धान्त, परिस्थितिकीय शब्दकोष तथा परिभाषायें
संगठन का स्तर, आवास एवं निच, व्यक्तिगत, प्रजाति, आबादी, समुदाय, जीवोम तथा
परिस्थितिकीय तंत्र का संगठन।
परिस्थितिकीय अनुक्रम, जलीय तथा मरुस्थलीय अनुक्रम, पराकाष्ठीय व अनुक्रमिक
समुदायों की अवधारणा।
इकोतंत्र की अवधारणा, जैविक एवं अजैविक घटक, इकोतंत्र के संरचनात्मक एवं
कार्मिक गुण, उत्पादकता ऊर्जा प्रवाह, खाद्य श्रृंखला, खाद्य जाल तथा
परिस्थितिकीय (पिरामिड्स) सूची स्तम्भ, स्थलीय व जलीय इकोतन्त्र।
कार्बन, नाइट्रोजन एवं फास्फोरस के भूजैविक - रसायनिक चक्र एवं जलीय चक्र।
खण्ड-ब (Section - B)
प्राकृतिक संसाधन - जल, इसके स्रोत, सतही एवं भूजल, जल का वैश्विक
वितरण एवं उपयोग, जल त्रासदी एवं संरक्षण रणनीति।
भारत की मृदा एवं भूसंसाधन व उनके उपयोग, संरक्षण रणनीति, समग्रित भूमि
उपयोग की योजना।
खनिज एवं पदार्थ - उनके उपयोग एवं खनन परिचालन।
भारत के वन संसाधन, वन प्रक्षेत्र, सामूहिक एवं सामाजिक वानिकी, वनीकरण
कार्यक्रम, वन संरक्षण एक्ट एवं राष्ट्रीय संरक्षण रणनीति।
जैव विविधता और इसका महत्व, कीस्टोन प्रजाति और हाट स्पाट, जैव विविधता का
मापन, जैव विविधता ह्रास के कारक, जैवविविधता का संरक्षण-स्वगृही एवं बहिगृही
संरक्षण, जैविक विविधता एक्ट।
भारत के वन्य जीव अभयारण व राष्ट्रीय उद्यान, वन्य जीव संरक्षण अधिनियम,
संरक्षित जीवोस्फियर की अवधारणा
पुनर्नवीनित (रिन्यूवेबुल) व अपुनर्नवीनित (नान रिन्यूवेबुल) उर्जा स्रोत व
उनका इष्टतमीकरण।
:: प्रश्न पत्र - II (Paper - II) ::
खण्ड-अ (Section - A)
पर्यावरणीय विघटन, मृदा अपरदन, वनोन्मूलन, सूखा, बाढ़ और मरुस्थलीकरण-
प्रक्रियायें, कारक व उनके प्रशमन के उपाय।
पर्यावरण प्रदूषण- वायु प्रदूषण-श्रोत, पौधों, जानवरों, मनुष्यों व
स्मारकों पर उनके प्रभाव और उनके नियंत्रण के तरीके, वायु गुणवत्ता मानक
जल प्रदूषण के प्रकार व मुख्य श्रोत, जलीय तन्त्र के भौतिक, रसायनिक व
जैविक गुणधर्म पर जल प्रदूषकों के प्रभाव, यूट्रोफीकेशन की प्रक्रिया व
नियंत्रण, जल के प्रदूषकों से पैदा होने वाली बीमारियाँ।
मृदा प्रदूषकों के प्रकार व मुख्य श्रोत, मृदा प्रदूषकों के मृदा की उर्वरता
व जैविक गुणों पर प्रभाव।
ध्वनि प्रदूषण के प्रमुख श्रोत, ध्वनि प्रदूषण का मानव स्वास्थ्य पर प्रभाव।
मानव जनित व अन्य जैविक सक्रियतायें- चराई, जलन, खनन इत्यादि तथा
उनका कृषि एवं पर्यावरण पर प्रभाव, औद्योगिकीकरण का पर्यावरणीय प्रभाव।
वैश्विक पर्यावरणीय समस्याओं का परिचय जैसे अम्ल वर्षा, ओजोन परत क्षरण,
हरित गृह गैसेस तथा वैश्विक तापन और जलवायु परिवर्तन।
ठोस अपशिष्ठ निस्तारण व इसका पर्यावरण पर प्रभाव व प्रबन्धन, घरेलू
औद्योगिक तथा शहरी प्रक्षेत्र में ठोस अपशिष्ठ प्रबन्धन, अपशिष्ठ से उर्जा
उत्पादन।
खण्ड-ब (Section - B)
पर्यावरणीय प्रबन्धन का परिचय एवं सम्भावित कार्यक्षेत्र, पर्यावरणीय नीतियाँ
और पारिस्थितिकी के धर्म।
टिकाउ विकास की मूल अवधारणा, औद्योगिक परिस्थितिकी, पुनश्चक्रीय उद्योग।
पर्यावरण के मूल नियम एवं नीतियाँ जैसे पर्यावरण संरक्षण, एक्ट, वायु एक्ट,
जल एक्ट।
राष्ट्रीय एवं अन्तर्राष्टीय स्तर पर पर्यावरण संरक्षण हेतु रणनीतियाँ तथा
उनके संस्थान।
जनसंख्या और पर्यावरण, वाहन क्षमता की अवधारणा और जनसंख्या नियंत्रण।
प्राकृतिक विपदायें, चक्रवात, बवण्डर, भूकम्प, हिमस्खलन, भूस्खलन व
ज्वालामुखी के कारण व प्रभाव, आपदाओं की चेतावनी शमनीकरण, तैयारियाँ एवं
प्रबन्धन।
पर्यावरणीय शिक्षा एवं जागृति, पुर्नस्थापन, पारिस्थितिकी की अवधारणा एवं
प्रयोग।
भारत में पर्यावरण प्रबन्धन हेतु तत्कालिक चुनैतियाँ एवं प्राथमिकतायें।