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Daily-static-mcqs 20 Sep 2024

यूपीएससी और सभी राज्य लोक सेवा आयोग परीक्षाओं के लिए हिंदी में डेली स्टेटिक MCQ क्विज : विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी (Science & Tech) 20 Sep 2024

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यूपीएससी और सभी राज्य लोक सेवा आयोग परीक्षाओं के लिए हिंदी में डेली स्टेटिक MCQ क्विज : विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी (Science & Tech)

Q1:

गैसोहोल के संदर्भ में, निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए:

1. यह ईंधन का एक सस्ता विकल्प है, जिसके तहत् गन्ने द्वारा सामान्य अल्कोहल तैयार किया जाता है।

2. इसके प्रयोग से पेट्रोलियम पर खर्च की जाने वाली धनराशि तथा पेट्रोलियम के प्रदूषण में वृद्धि को कम किया जा सकता है।

3.  इसके ईंधन का प्रयोग कार, मोटरसाइकिल, स्कूटर, आदि के इंजनों में किया जा सकता है।

उपर्युक्त में से कितने कथन सही हैं?

A: केवल एक

B: केवल दो

C: सभी तीन

D: कोई भी नहीं

उत्तर: C

स्पष्टीकरण:

गैसोहोल ईंधन का एक सस्ता विकल्प है, जिसे गन्ने के रस से तैयार किया जाता है। गैसोहोल के तहत् गन्ने द्वारा सामान्य अल्कोहल तैयार किया जाता है। इस अल्कोहल को पेट्रोल में मिलाकर प्रदूषण से बचा जा सकता है। अतः कथन 1 सही है।


भारतीय पेट्रोलियम संस्थान के वैज्ञानिक के.के. गांधी के अनुसार, गैसोहोल के प्रयोग से भारत में पेट्रोलियम पर खर्च की जाने वाली धनराशि तथा पेट्रोलियम के प्रदूषण में जो वृद्धि हुई है, उसे बहुत हद तक कम किया जा सकता है। अतः कथन 2 सही है।


गैसोहोल ईंधन का प्रयोग कार, मोटरसाइकिल, स्कूटर, आदि के इंजनों में किसी भी प्रकार का परिवर्तन किए बिना ही किया जा सकता है। इस ईंधन के प्रयोग से पर्यावरणीय और पारिस्थितिकीय दुष्प्रभाव से बचा जा सकता है। पेट्रोल में गन्ने से निर्मित अल्कोहल को मिश्रित करने से हाइड्रोजन, कार्बन और कार्बन मोनोऑक्साइड का पर्यावरण में उत्सर्जन प्रायः समाप्त हो जाता है और धुआं तथा ईंधन में गड़गड़ाहट जैसी कोई समस्या नहीं रहती। गैसोहोल के प्रयोग से 3 से 5 प्रतिशत तक ईंधन की बचत की जा सकती है। अतः कथन 3 सही है।


                            

Q2:

बैटरी चालित वाहन के संदर्भ में, निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए:

1. ये वाहन पेट्रोल एवं डीजल की जगह इलैक्ट्रिक मोटर द्वारा चालित होते हैं।

2. इस प्रकार के वाहन वाहन पर्यावरण हितैषी, प्रदूषण मुक्त एवं ऊर्जा मितव्ययी होते हैं।

3. निकेल धातु हाइड्राइड बैटरी इन वाहनों के लिए सबसे उपयुक्त बैटरी प्रकार हैं।

उपर्युक्त में से कितने कथन सही हैं?

A: केवल एक

B: केवल दो

C: सभी तीन

D: कोई भी नहीं

उत्तर: B

स्पष्टीकरण:

बैटरी चालित वाहन पेट्रोल एवं डीजल की जगह इलैक्ट्रिक मोटर द्वारा चालित होते हैं। इन वाहनों में मोटर को विद्युत पुनः आवेशित बैटरियों द्वारा प्राप्त होती है। अतः कथन 1 सही है।


बैटरी चालित वाहन पर्यावरण हितैषी, प्रदूषण मुक्त एवं ऊर्जा मितव्ययी सतत् परिवहन व्यवस्था प्रदान करते हैं। इस क्षेत्र में अनुसंधान कार्यों द्वारा तकनीकी दक्षता में अपेक्षित सुधार किए जा रहे हैं। नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय (एम.एन.आर.) वी.. वी. के प्रसार एवं प्रोत्साहन के लिए नोडल एजेंसी, राज्य विभागों एवं संघ क्षेत्रों को एकीकृत एवं समन्वित कर रहा है। अतः कथन 2 सही है।


बी..वी. के लिए उच्चतम क्षमता वाली बैटरियों जैसे- निकेल धातु के हाइड्राइड, लीथियम, आयन, लीथियम पोलीमर इलेक्ट्रोलाइट बैटरियों तथा सुपर कैपिसिटर्स से संबंधित अनुसंधान और विकास परियोजनाओं को सहायता प्रदान की जा रही है। बिजली से चलने वाले स्कूटर को चलाने के लिए विकसित की गई निकेल धातु हाइड्राइड का प्रदर्शन किया गया है। अतः कथन 3 सही नहीं है।


                            

Q3:

निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए:

कथन-I: मैग्नेटो हाइड्रोडायनेमिक्स ऊर्जा उत्पादन का सिद्धांत तापीय ऊर्जा को सीधे विद्युत् ऊर्जा में परिवर्तित करने पर आधारित है।

कथन-II: मैग्नेटो हाइड्रोडायनेमिक्स प्रणाली में बिना गतिज पार्ट के एक इकाई में जेनरेटर लगाया जाता है।

उपर्युक्त कथनों के बारे में, निम्नलिखित में से कौन-सा एक सही है?

A: कथन-I और कथन- II दोनों सही है तथा कथन-II, कथन-I की सही व्याख्या है

B: कथन-I और कथन-II दोनों सही है तथा कथन-II, कथन-I की सही व्याख्या नहीं है

C: कथन-I सही है किन्तु कथन-II गलत है

D: कथन-I सही है किन्तु कथन-II गलत है

उत्तर: B

स्पष्टीकरण:

मैग्नेटो हाइड्रोडायनेमिक्स (एम.एच.डी) ऊर्जा उत्पादन का सिद्धांत तापीय ऊर्जा को सीधे विद्युत् ऊर्जा में परिवर्तित करने पर आधारित है। अभी यह सिद्धांत प्रायोगिक दौर में ही है। रूस, संयुक्त राज्य अमेरिका, जापान, चीन, नीदरलैण्ड, आस्ट्रेलिया, पोलैण्ड और फिनलैण्ड में इस तकनीक पर गहन अनुसंधान चल रहे हैं। अतः कथन I सही है।


इस तकनीक के द्वारा चुम्बकीय सतह पर चालक तरल के बहाव द्वारा ताप ऊर्जा को सीधे विद्युत ऊर्जा में परिवर्तित करने के लिए अत्यधिक उच्च ताप (2800 केल्विन) की आवश्यकता होती है। मैग्नेटो हाइड्रोडायनेमिक्स प्रणाली में बिना गतिज पार्ट के एक इकाई में जेनरेटर लगाया जाता है। भारत में कोयला आधारित मैग्नेटो हाइड्रोडायनेमिक्स अनुसंधान परियोजना तमिलनाडु के तिरूचिरापल्ली में 5 मेगावॉट ताप ऊर्जा के स्तर के स्थापित संयंत्र में चलायी जा रही है। अतः कथन II सही है।


यहाँ कथन और दोनों सही है तथा कथन-II, कथन-I की सही व्याख्या नहीं है। अतः विकल्प (b) सही है।


                            

Q4:

निम्नलिखित युग्मों पर विचार कीजिए:

1. α किरणें

ये द्विआयनित हीलियम परमाणुओं की बनी होती हैं।

2. ẞ किरणें

ये किरणें इलेक्ट्रॉनों की बनी होती हैं।

3. γ गामा किरणें

ये किरणें फोटॉनों की बनी होती हैं।

 

उपर्युक्त में से कितने युग्म सही सुमेलित हैं?

A: केवल एक युग्म

B: केवल दो युग्म

C: सभी तीन युग्म

D: कोई भी युग्म नहीं

उत्तर: C

स्पष्टीकरण:

रेडियो सक्रिय पदार्थों के परमाणु के नाभिक से विभिन्न प्रकार की रेडियो सक्रिय किरणें उत्सर्जित होती हैं। रेडियो सक्रिय किरणें तीन प्रकार की होती हैं-अल्फा (α) किरणें, जिनकी पहचान सर्वप्रथम बेकुरल ने की थी; बीटा (ẞ) किरणें, जिनकी पहचान सर्वप्रथम रदरफोर्ड ने की थी; तथा गामा (γ) किरणें, जिनकी पहचान मेरी और पियरी क्यूरी ने की थी।


α-कण किरणें द्विआयनित हीलियम परमाणुओं की बनी होती हैं। इन्हें He+2 भी लिखा जा सकता है। ये किरणें धनावेशित होती हैं। इनका वेग प्रकाश के वेग का भाग होता है। ये सर्वाधिक आयनन क्षमता वाली होती हैं। ये किरणें विद्युतीय तथा चुम्बकीय क्षेत्रों से प्रभावित हो जाती हैं। इनमें दो प्रोटॉन तथा दो न्यूट्रॉन होते हैं। अतः युग्म 1 सही सुमेलित है।


ẞ -किरणें इलेक्ट्रॉनों की बनी होती हैं। ये ऋणावेशित होती हैं एवं विद्युतीय तथा चुम्बकीय क्षेत्रों में निक्षेपित हो जाती हैं। इनका वेग प्रकाश के वेग के लगभग बराबर होता है। इनकी आयनन क्षमता α-कणों से कम होती है। ये किरणें भी प्रतिदीप्ति (fluorescence) उत्पन्न करती हैं। ẞ-कणों के उत्सर्जन से परमाणु-भार में परिवर्तन नहीं होता है। -कणों के उत्सर्जन से परमाणु-संख्या 1 से बढ़ जाती है तथा समभारिक तत्वों का निर्माण होता है। अतः युग्म 2 सही सुमेलित है।


γ-किरणें फोटॉनों की बनी होती हैं। इन पर कोई आवेश नहीं होता है। ये विद्युतीय तथा चुम्बकीय क्षेत्रों से प्रभावित नहीं होती हैं। इनकी आयनन क्षमता काफी कम होती है। इनकी भेदन क्षमता α तथा किरणों से काफी अधिक होती है। इनका वेग प्रकाश के वेग के बराबर होता है। ये एक्स-रे के समान होती हैं, पर इनका तरंगदैर्ध्य छोटा होता है। अतः युग्म 3 सही सुमेलित है।


                            

Q5:

निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए:

1. यूरेनियम धातु और उसके लवणों से निकलने वाली अदृश्य किरणें कोलेज कागज में लिपटी कोरेग्राफिक प्लेट को काला कर देती हैं।

2. बैकुरल किरणें इतनी तीव्र होती हैं कि धातुओं की पतली चादर को भी पार कर जाती हैं।

3. कृत्रिम रेडियोधर्मिता वह है जो कुछ छोटे अस्थायी तत्वों पर अल्फा किरणों की बारिश से उत्पन्न होती है।

उपर्युक्त में से कितने कथन सही हैं?

A: केवल एक

B: केवल दो

C: सभी तीन

D: कोई भी नहीं

उत्तर: C

स्पष्टीकरण:

कुछ ऐसे तत्व होते हैं, जो प्रकृति में स्वतंत्र रूप में अधिक समय तक कायम नहीं रह सकते और वे धीरे-धीरे अन्य तत्वों में परिवर्तित हो जाते हैं। हेनरी बैकुरल द्वारा यह पता लगाया गया कि, यूरेनियम धातु और उसके लवणों से एक विशेष प्रकार की अदृश्य किरणें निकलती हैं। यह अदृश्य किरणें कोलेज कागज में लिपटी कोरेग्राफिक प्लेट पर अपना प्रभाव डालकर उसे काला कर देती हैं। अतः कथन 1 सही है।


ये किरणें इतनी तीव्र होती हैं कि धातुओं की पतली चादर को भी पार कर जाती हैं। गैसों को आयनित कर देती है और जिंक सल्फाइड में प्रदीप्ति उत्पन्न करती है। ये किरणें ही 'बैकुरल किरण' कहलाती हैं। अंततः बैकुरल किरणों को उत्सर्जित करने वाले तत्वों को ही रेडियोधर्मी तत्व तथा इस गुण को रेडियोधर्मिता कहा जाता है। अतः कथन 2 सही है।


कुछ अल्प स्थाई तत्वों पर अल्फा किरणों की बौछार करने से जो रेडियोधर्मिता उत्पन्न होती है, उसे कृत्रिम रेडियोधर्मिता कहते हैं। यथा, एल्यूमीनियम नाभिक पर अल्फा कणों की बौछार करने से एल्यूमीनियम नाभिक से एक न्यूट्रॉन बाहर निकल जाता है, इसके परिणामस्वरूप एल्यूमीनियम फॉस्फोरस के रेडियो समस्थानिक में परिवर्तन हो जाता है। अतः कथन 3 सही है।