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Daily-static-mcqs 11 Mar 2024
Q1:
मिलिंदपह्नों एक बौद्ध ग्रंथ है, इसमें किस-किस के बीच संवाद वर्णित है?
A: विश्वामित्र-गार्गी के मध्य संवाद
B: मिनांडर तथा नागसेन के मध्य संवाद
C: बुद्ध के शिष्यों के मध्य संवाद
D: कोई भी नहीं
उत्तर: B
स्पष्टीकरण:
मिलिंदपह्नों एक बौद्ध ग्रंथ है, इसमें इंडो-ग्रीक शासक मिनांडर (मिलिंद) और बौद्ध दार्शनिक नागसेन के बीच का संवाद लिपिबद्ध है। इस ग्रंथ का नाम मिलिंदपह्नों, मिनांडर द्वारा (नागसेन से) किए गए प्रश्नों के कारण पड़ा, यह पालि भाषा में लिखा गया ग्रंथ है। इस ग्रंथ में मिनांडर के प्रश्नों का नागसेन द्वारा दिया गया उत्तर उल्लेखित है।
Q2:
प्रसिद्ध महाकाव्य 'कुरल' की रचना किसने की थी?
A: तिरुवल्लुवर
B: शंकराचार्य
C: विष्णु शर्मा
D: कोई भी नहीं
उत्तर: A
स्पष्टीकरण:
तिरुवल्लुवर ने प्रसिद्ध ग्रंथ 'कुरल' की रचना की, इस काव्य ग्रंथ में जीवन के अनेक पक्षों की विवेचना की गई है। तिरुवल्लुवर प्रसिद्ध तमिल कवि और दार्शनिक थे।
तमिल साहित्य में इनका योगदान उल्लेखनीय है। कुरल (थिरुकुरल) तमिल साहित्य में नीति पर आधारित पुस्तक है, जिसमें आदर्श गृहस्थ जीवन, नैतिक शिक्षा तथा पवित्र जीवन जीने की चर्चा की गई है।
Q3:
निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए: 1. भक्तिमार्गी संतों ने अपना उपदेश जनभाषा में दिया था। 2. भक्तिकाल में बृजभाषा और अवधी हिंदी की दो प्रमुख बोलियाँ थीं। 3. मलिक मुहम्मद जायसी ने पद्मावत की रचना अवधी भाषा में की थी। उपर्युक्त में से कितने कथन सही हैं?
A: केवल एक
B: केवल दो
C: सभी तीन
D: कोई भी नहीं
उत्तर: C
स्पष्टीकरण:
भक्तिमार्गी संतों ने अपने उपदेशों को आमजन की भाषा में दिया, जिससे उनका जुड़ाव अधिक-से-अधिक लोगों तक हुआ। भक्ति संतों में कबीर, नानक, नामदेव, सूरदास, तुलसीदास आदि प्रमुख थे।भक्तिकाल में ब्रजभाषा और अवधी हिंदी की दो प्रमुख बोलियां थीं। सूरदास की रचनाएँ अधिकांश भोजपुरी में हैं।मलिक मुहम्मद जायसी ने पद्मावत की रचना अवधी भाषा में की थी।
Q4:
तमिल रामायण की रचना किसने की थी?
A: कुलशेखर
B: रन्ना
C: पोन्ना
D: कंबन
उत्तर: D
स्पष्टीकरण:
तमिल रामायण की रचना कंबन द्वारा की गई थी। पोन्ना ने शांतिपुराण की रचना की थी, जिसमें 16वें जैन तीर्थंकर की जीवनगाथा है। कुलशेखर अलवार संत थे, जिन्होंने नवीं शताब्दी में चेर राज्य पर शासन किया। उनकी रचना 'मुकुंदमाला' संस्कृत में रचित है। रन्ना ने अजित पुराण और गदायुद्ध की रचना की थी। पंपा, पोन्ना तथा रन्ना को कन्नड़ साहित्य का त्रिरत्न कहा जाता है।
Q5:
भारत में प्रचलित कव्वाली नामक संगीत शैली के जन्मदाता कौन हैं?
A: अमीर खुसरो
B: भरतमुनि
C: अमीर हसन
D: नागार्जुन
उत्तर: A
स्पष्टीकरण:
भारत में प्रचलित कव्वाली संगीत का जन्मदाता अमीर खुसरो को माना जाता है। इसके अतिरिक्त अमीर खुसरो को गजल, ख्याल तथा तराना का भी पिता माना जाता है।अमीर खुसरो को 'तोता-ए-हिंद' अर्थात् 'हिंद का तोता' कहा जाता है। इनका जन्म 1253 ई. में एटा, उत्तर प्रदेश में हुई। ये महान संगीतकार, इतिहासकार एवं कवि थे। इन्होंने 8 सुल्तानों का शासन देखा था। इन्हें खड़ी बोली के आविष्कार का श्रेय भी दिया जाता है।