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11 Jun 2023
यूपीएससी और राज्य पीसीएस परीक्षा के लिए ब्रेन बूस्टर (विषय: अंतर्राष्ट्रीय रोगजनक निगरानी नेटवर्क (The International Pathogen Surveillance Network)
चर्चा में क्यों?
- विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कोविड-19 जैसी संक्रामक बीमारियों के खतरे का तेजी
से पता लगाने और उनके प्रसार को रोकने के लिए जानकारी साझा करने में मदद करने
के लिए अंतर्राष्ट्रीय रोगजनक़ निगरानी नेटवर्क (International Pathogen
Surveillance Network-IPSN) नामक एक वैश्विक नेटवर्क लॉन्च किया गया।
IPSN के बारे में
- आईपीएसएन पैथोजन जीनोमिक कारकों का एक वैश्विक नेटवर्क है, जिसे डब्ल्यूएचओ
हब फॉर पैनडेमिक एंड एपिडेमिक इंटेलिजेंस द्वारा होस्ट किया गया।
- नेटवर्क वायरस, बैक्टीरिया और अन्य रोग पैदा करने वाले जीवों के आनुवंशिक
कोड का विश्लेषण करने के लिए रोगजनक जीनोमिक्स पर निर्भर करता है ताकि यह समझा
जा सके कि वे कितने संक्रामक और घातक हैं एवं वे कैसे फैलते हैं?
- आईपीएसएन नए रोगजनकों का तेजी से पता लगाने, बीमारियों के प्रसार और विकास
की बढ़ी हुई ट्रैकिंग को सक्षम बनाएगा ।
- आईपीएसएन चल रही बीमारी निगरानी का भी समर्थन करता है और महामारी या महामारी
बनने से पहले नए रोग के खतरों का पता लगाने में मदद करेगा।
- आईपीएसएन देशों और क्षेत्रें को जोड़ने, नमूने एकत्र करने व विश्लेषण करने
के लिए सिस्टम में सुधार करने के लिए एक मंच प्रदान करेगा।
- आईपीएसएन का डब्ल्यूएचओ के हब फॉर पैनडेमिक एंड एपिडेमिक इंटेलिजेंस के
भीतर एक सचिवालय होगा।
- यह नेटवर्क जीनोमिक्स और डेटा एनालिटिक्स पर विशेषज्ञों को एक साथ लाएगा जो
सरकारों, शिक्षाविदों और निजी क्षेत्र से तैयार किए गए हैं।
जीनोमिक्स और संक्रामक रोग
- जीनोमिक प्रौद्योगिकियां संक्रामक रोग के खतरों के नियंत्रण में
महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं।
- माइक्रोबियल डीएनए का तेजी से सटीक विश्लेषण नए खतरों और प्रकोपों का पता
लगाने में सक्षम बनाता है।
- यह नया ज्ञान बीमारी के प्रसार को रोकने और प्रबंधित करने के लिए अधिक
प्रभावी हस्तक्षेप को बढ़ावा दे रहा है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन
- डब्ल्यूएचओ, जिसका मुख्यालय जिनेवा (स्विट्जरलैंड) में है, संयुक्त राष्ट्र
की एक विशेष एजेंसी है जो अंतर्राष्ट्रीय सार्वजनिक स्वास्थ्य के लिए जिम्मेदार
है।
- इसकी स्थापना 7 अप्रैल, 1948 को हुई थी।
- इथियोपिया के सार्वजनिक स्वास्थ्य अधिकारी टेड्रोस अधानोम घेब्रेयेसस
डब्ल्यूएचओ के पहले अफ्रीकी मूल के महानिदेशक हैं।
अन्य जानकारी
- कोविड-19 ने महामारी के खतरों का सामना करने में पैथोजन जीनोमिक्स की
महत्त्वपूर्ण भूमिका पर प्रकाश डाला।
- सार्स सीओवी-2 (SARS CoV-2) वायरस के तेजी से अनुक्रमण के बिना, टीके उतने
प्रभावी नहीं होते, न ही जल्दी उपलब्ध होते।
- जीनोमिक्स, प्रभावी महामारी के प्रतिरोध की तैयारी और प्रतिक्रिया के
केंद्र में होते हैं।
- आईपीएसएन ऐसी चुनौतियों का सामना करने में मदद करेगा, क्योंकि यह प्रत्येक
देश को अपनी सार्वजनिक स्वास्थ्य प्रणाली के हिस्से के रूप में रोगजनक जीनोमिक
अनुक्रमण और विश्लेषिकी तक पहुंच प्रदान कर सकता है।
- नेटवर्क का उद्देश्य यह सुनिश्चित करने में मदद करना है कि संक्रामक रोग के
खतरों की तेजी से पहचान की जाए और कोविड महामारी जैसी तबाही को रोकने के लिए
साझा की गई जानकारी के माध्यम से कार्यवाही की जाए।
- यह कोविड-19 के बाद से शुरू की गई कई पहलों में से नवीनतम है जिसका
उद्देश्य महामारी के खतरों को रोकने और अधिक प्रभावी ढंग से प्रतिक्रिया देने
की विश्व की क्षमता को मजबूत करना है।