चर्चा में क्यों?
- एनिमेशन, विजुअल इफेक्ट्स, गेमिंग और कॉमिक (एवीजीसी) टास्क फोर्स ने एवीजीसी सेक्टर के एकीकृत संवर्धन और विकास के लिए बजट परिव्यय के साथ एक राष्ट्रीय एवीजीसी-एक्सआर मिशन का आवाह्न किया है।
टास्क फोर्स की मुख्य सिफारिशें:
वैश्विक पहुंच के लिए घरेलू उद्योग का विकासः
- एवीजीसी क्षेत्र के एकीकृत संवर्धन और विकास के लिए बजट परिव्यय के साथ एक राष्ट्रीय एवीजीसी-एक्सआर मिशन बनाना।
- भारत और दुनिया के लिए भारत में कंटेंट सृजन पर विशेष ध्यान देने के साथ ‘क्रिएट इन इंडिया’ अभियान का शुभारंभ।
- भारत को एवीजीसी के लिए वैश्विक केंद्र बनाने के लक्ष्य को लेकर, एक अंतर्राष्ट्रीय एवीजीसी मंच स्थापित करने के साथ-साथ गेमिंग एक्सपो सहित एफडीआई, सह-उत्पादन संधियों और नवाचार पर जोर देना।
- एवीजीसी क्षेत्र के लिए स्किलिंग, शिक्षा, उद्योग विकास और अनुसंधान एवं नवाचार में एक अंतर्राष्ट्रीय संदर्भ बिंदु बनने के लिए एवीजीसी क्षेत्र के लिए एक राष्ट्रीय उत्कृष्टता केंद्र (सीओई) स्थापित करना।
- स्थानीय उद्योगों तक पहुंच प्रदान करने और स्थानीय प्रतिभा व कंटेंट को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकारों के सहयोग से क्षेत्रीय सीओई की स्थापना करना।
जनसांख्यिकीय लाभांश प्राप्त करने के लिए टैलेंट इकोसिस्टम विकसित करनाः
- स्कूल स्तर पर समर्पित एवीजीसी पाठ्यक्रम सामग्री के साथ रचनात्मक सोच विकसित करने के लिए राष्ट्रीय शिक्षा नीति का लाभ उठाना, मूलभूत कौशल का निर्माण करना और करियर विकल्प के रूप में एवीजीसी के बारे में जागरूकता पैदा करना।
- मानक पाठ्यक्रम और विश्व स्तर पर मान्यताप्राप्त डिग्री के साथ एवीजीसी केंद्रित यूजी/पीजी पाठ्यक्रम शुरू करना।
- एवीजीसी से संबंधित पाठ्यक्रमों के लिए प्रवेश परीक्षा का मानकीकरण करना।
- गैर-मेट्रो शहरों और पूर्वोत्तर राज्यों के छात्रों के लिए रोजगार के अवसर और समायोजन सुनिश्चित करने के लिए उद्योगजगत की भागीदारी को बढ़ाना।
- अटल टिंकरिंग लैब्स की तर्ज पर शैक्षणिक संस्थानों में एवीजीसी एक्सेलेरेटर्स और इनोवेशन हब स्थापित करना।
भारतीय एवीजीसी उद्योग के लिए प्रौद्योगिकी और वित्तीय व्यवहार्यता को बढ़ानाः
- एमएसएमई, स्टार्ट-अप और संस्थानों के लिए सदस्यता-आधारित मूल्य निर्धारण मॉडल को बढ़ावा देकर एवीजीसी तकनीकों को लोकप्रिय बनाना।
- अनुसंधान एवं विकास और बौद्धिक संपदा के सृजन के लिए प्रोत्साहन योजनाओं के माध्यम से एवीजीसी प्रौद्योगिकियों के लिए मेड इन इंडिया को बढ़ावा।
- एवीजीसी हार्डवेयर निर्माताओं को प्रोत्साहित करने के लिए पीएलआई योजना का मूल्यांकन करना।
- एवीजीसी क्षेत्र में कारोबारी सुगमता को बढ़ाना, जैसे कर लाभ, आयात शुल्क, चोरी पर अंकुश लगाना आदि।
- अनुसंधान एवं विकास और स्थानीय बौद्धिक संपदा के निर्माण की संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए एवीजीसी उद्यमियों को तकनीकी, वित्तीय और बाजार पहुंच संबंधी सहायता को लेकर स्टार्ट-अप इंडिया का लाभ प्रदान करना।
समावेशी विकास के माध्यम से भारत की सॉफ्ट पावर को बढ़ानाः
- विश्व स्तर पर भारतीय संस्कृति और विरासत को बढ़ावा देने के लिए भारत भर से घरेलू कंटेंट निर्माण के लिए एक समर्पित उत्पादन कोष स्थापित करना।
- प्रसारकों द्वारा उच्च गुणवत्ता वाली स्वदेशी कंटेंट के लिए प्रतिबद्धता का मूल्यांकन करना।
- एक समावेशी भारत के लिए, भारत के टीयर 2 और 3 कस्बों व गांवों में युवाओं के लिए कौशल विकास और उद्योग पहुंच को लक्षित करना।
- एवीजीसी क्षेत्र में महिला उद्यमियों के लिए विशेष प्रोत्साहन स्थापित करना।
- बच्चों एवं युवाओं के बीच भारत की समृद्ध संस्कृति और इतिहास के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए स्थानीय बाल चौनलों को बढ़ावा देना।
- डिजिटल दुनिया में बाल अधिकारों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए ढांचा स्थापित करना।